कुरुक्षेत्र 27 अगस्त: अब सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट (एसटीपी) के ट्रिटिड वाटर से हजारों किसानों की 3200 एकड़ भूमि की सिंचाई की जाएगी। इसके लिए सिंचाई विभाग की तरफ से ट्रिटिड वाटर से सिंचाई करने की एक योजना तैयार की है। इस योजना के तहत किसानों का एक पैसा भी खर्च नहीं होगा। किसानों को सिर्फ ट्रिटिड वाटर से सिंचाई करने की मात्र अपनी सहमति ही देनी होगी। अहम पहलू यह है किसानों के खेतों तक पानी पहुंचाने के लिए सिंचाई विभाग की तरफ से 29 करोड़ 32 लाख का बजट खर्च किया जाएगा।
विधायक सुभाष सुधा ने शुक्रवार को बातचीत करते हुए कहा कि राज्य सरकार किसानों के हित के लिए लगातार योजनाओं को अमलीजामा पहनाने का काम कर रही है। सरकार की योजना है कि एसटीपी के पानी को ट्रीट करके सिंचाई कार्यों के लिए प्रयोग किया जाए। सरकार की इस योजना के तहत ही थानेसर हल्का के गांवों नरकातारी में स्थित एसटीपी के पानी को ट्रीट करके सिंचाई के लिए प्रयोग किया जाएगा। इसके लिए सिंचाई विभाग ने एक पूरा प्रपोजल तैयार किया है। इस प्रपोजल के तहत गांव नरकातारी, गुलाब गढ़, दबखेड़ी, बचगांव, जोगना खेड़ा, बाहरी व घमूरखेड़ी के किसानों को एसटीपी के ट्रिटिड पानी से सिंचाई करने की योजना का फायदा मिलेगा।
सिंचाई विभाग की तरफ से किसानों के खेतों तक पानी पहुंचाने के लिए तैयार किया 29.32 करोड़ का बजट, किसानों का एक पैसा भी नहीं होगा खर्च, किसानों को सिर्फ देनी होगी अपनी सहमति, 7 गांवों के किसानों को होगा योजना का फायदा
विधायक ने कहा कि सिंचाई विभाग की तरफ से 29 करोड़ 32 लाख रुपए का एक प्रपोजल तैयार करके सरकार के पास भेजा है। इस प्रपोजल को कार्यकारी अभियंता गुरविन्द्र सिंह और उनकी टीम द्वारा किया गया है। इस टीम ने किसानों के हित के लिए इस योजना को तैयार करके अंतिम अनुमति के लिए अब सरकार को भेजा है। इस योजना के अनुसार नरकातारी गांव में लगे एसटीपी के साथ एक तालाब बनाया जाएगा। इस तालाब में एसटीपी के ट्रिटिड वाटर को डाला जाएगा और इसके बाद इस तालाब से मोटर के माध्यम से पानी को लिफ्ट करके किसानों के खेतों तक पहुंचाया जाएगा। उन्होंने कहा कि किसानों के खेतों को पानी पहुंचाने के लिए सिंचाई विभाग की तरफ से अंडरग्राउंड पाईप बिछाई जाएंगी और जहां-जहां भी मोटर की जरुरत होगी, वहां-वहां मोटर लगाकर सहमति देने वाले किसानों के खेतों तक पानी को पहुंचाया जाएगा।
सिंचाई विभाग के कार्यकारी अभियंता गुरविन्द्र सिंह ने कहा कि सिंचाई विभाग की तरफ से सहमति देने वाले किसानों के खेतों तक एसटीपी के ट्रिटिड वाटर को पहुंचाने की योजना बनाई है। इस योजना पर सारा खर्च सरकार की तरफ से वहन किया जाएगा। किसानों को कोई खर्चा नहीं देना पड़ेगा। किसानों की सिर्फ सहमति की जरुरत होगी। इसपर सरकार 29 करोड़ 32 लाख खर्च करेगी और 3200 एकड़ भूमि की सिंचाई करने का प्रस्ताव है। इस प्रस्ताव को सरकार के पास भेजा गया है, अनुमति मिलते ही इस पर कार्य शुरु कर दिया जाएगा।